वॉशिंगटन: जब रात और दिन का मिलन हो और ठंड का आगमन हो रहा हो तो हमारी धरती कैसी दिखती होगी? बहुत से लोगों में इसको लेकर उत्सुकता होगी। यूरोपियन स्पेस एजेंसी (ईएसए) ने एक तस्वीर जारी की है। यह तस्वीर लोगों की उत्सुकता शांत करने वाली है। एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर जारी इस तस्वीर में सूरज आसमान में खगोलीय भूमध्य रेखा को पार कर रहा है और उत्तरी गोलार्ध में शरद ऋतु का आगमन हो रहा है। फोटो को शेयर करते हुए स्पेस एजेंसी ने लिखा है कि सर्दियां आ रही हैं। दिन और रात आज आधे में विभाजित हैं। सूर्य ने 07:50 बीएसटी / 08:50 सीईएसटी पर आकाश में खगोलीय भूमध्य रेखा को पार किया जो उत्तरी गोलार्ध में शरद ऋतु के आने का संकेत है। एजेंसी ने आगे बताया कि तस्वीर आज सुबह 09:00 बीएसटी/10:00 सीईएसटी पर मेटेओसैट सैलेटाइट से ली गई थी।
तस्वीर को सोशल मीडिया पर शेयर किए जाने के बाद बड़ी संख्या में लोगों ने इस पर अपनी प्रतिक्रिया दर्ज की है। एक यूजर ने लिखा कि यह एक रोचक पोस्ट है। वहीं, एक अन्य ने इसे इनक्रेडिबल की संज्ञा दी है। एक अन्य सोशल मीडिया यूजर ने लिखा है कि उत्तरी गोलार्ध में शरद ऋतु आ रही है। यहां दिखाया गया है, अफ्रीका, यूरोप और मध्य पूर्व के साथ धरती की यह बेहद भव्य छवि है। एक अन्य व्यक्ति ने इसे अमेजिंग बताया है। उसने लिखा कि मुझे अंदाजा भी नहीं था कि धरती पर दुनिया के देश इस कदर खूबसूरत नजर आ रहे होंगे।
स्पेस डॉट कॉम के अनुसार, शरद ऋतु उत्तरी गोलार्ध में खगोलीय रूप से शुरू हुई और वसंत दक्षिणी गोलार्ध में शुरू हुआ। सूर्य वर्तमान में दक्षिण की ओर पलायन कर रहा है, पिछले छह महीनों ने हमारे ग्रह के उत्तरी आधे हिस्से पर सीधे चमकते हुए बिताया है। इसलिए, शरद ऋतु की आधिकारिक शुरुआत के समय, सूर्य मालदीव में अड्डू शहर से 170 मील (275 किलोमीटर) उत्तर-पूर्व में भूमध्य रेखा पर स्थित लाकादिव सागर में एक जहाज से सीधे ऊपर दिखाई देगा। पृथ्वी की धुरी वर्ष के अधिकांश समय सूर्य की ओर या उससे दूर झुकी हुई है। यह इस तरह से है कि ग्रह के उत्तरी और दक्षिणी भागों को सूर्य से अलग-अलग मात्रा में गर्मी और रोशनी मिलती है। पृथ्वी की धुरी और कक्षा इस तरह से अलाइन होती है कि दोनों गोलार्धों को समान रूप से सूरज की रोशनी बांटती है।