छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित बस्तर (Bastar) में नक्सली गश्त पर निकलने वाले जवानों को टारगेट बनाने के लिए तरह-तरह के हथकंडे अपनाते रहते हैं. नक्सली कभी आईईडी ब्लास्ट, कभी बुबी ट्रैप में जवानों को फंसाते हैं. वहीं अब नक्सली हमास की तर्ज पर सुरंग बनाकर जवानों को निशाना बनाने के फिराक में हैं. जिस तरह से हमास ने इसराइल पर हमले के लिए सुरंग बनाकर वार की रणनीति बनाई.
उसी तरह नक्सलियों ने भी दंतेवाड़ा और बीजापुर जिले के सरहदी इलाके भैरमगढ़ के जंगलो में करीब 30 मीटर लंबी सुरंग बनाई है. इस इलाके में गश्त पर निकले जवानों की नक्सलियों से मुठभेड़ हुई. उसके बाद सर्चिंग के दौरान जवानों की नजर इस सुरंग पर पड़ी. यह पहली बार है जब नक्सलियों ने इतनी लंबी सुरंग बनाकर जवानों पर हमला करने की रणनीति बनाई है. नक्सलियों ने इस सुरंग को कुछ इस तरह खोदकर तैयार किया है कि, इसमें करीब 50 से ज्यादा नक्सली छुप सकें. अंदाजा लगाया जा रहा है कि सुरंग को तैयार करने में नक्सलियों को करीब तीन से चार महीने का समय लगा होगा.
दंतेवाड़ा एसपी ने क्या कहा?
बताया जा रहा कि फोर्स पहली बार इस, इलाके में पहुंची थी. इसी दौरान जवानों ने नक्सलियों की बनाई ये सुरंग खोज निकाली. दंतेवाड़ा एसपी गौरव राय ने जानकारी देते हुए बताया कि मंगलवार को जवानों की जिले के भैरमगढ़ इंद्रावती एरिया कमेटी के नक्सलियों से पिंडकापाल बोड़गा ताकिलोर में जबरदस्त मुठभेड़ हुई. दरअसल, जवानों को सूचना मिली थी कि भैरमगढ़ इंद्रावती एरिया कमेटी के प्लॉटुन नंबर-16 के कमांडर डीवीसीएम मल्लेश सहित 25 से 30 हथियारबंद नक्सलियों की इस इलाके में मौजूदगी है.
DRG, बस्तर फाइटर्स और CRPF ने चालाया अभियान
एसपी ने बताया कि, इसके बाद डीआरजी, बस्तर फाइटर्स और सीआरपीएफ 230 यंग प्लाटून टीम के जवानों ने सर्च अभियान चलाया. इस दौरान घात लगाए बैठे नक्सलियों ने जवानों पर बीजीएल और अत्याधुनिक हथियारो से फायरिंग भी की. एसपी ने जवानों की जवाबी कार्रवाई में कुछ नक्सलियों को गोली लगने का दावा भी किया है. उन्होंने बताया कि मुठभेड़ थमने के बाद जवानों ने वापस लौटते वक्त तीन नक्सली स्मारक सहित नक्सलियों के डेरे को भी ध्वस्त कर दिया.
नक्सलियों ने बनाई 30 मीटर लबीं सुरंग
दंतेवाड़ा एसपी गौरव राय ने बताया कि, साथ ही जवानों ने नक्सलियों द्वारा उनको नुकसान पहुंचाने के लिए रास्तों में लगाए गए स्पाइक, आईईडी और कुकर बम भी बरामद किया. एसपी ने बताया कि नक्सलियों ने स्मारक के पास ही करीब 30 मीटर लंबा सुरंग बना रखी थी. इस सुरंग को देखकर अंदाजा लगाया जा रहा है कि नक्सलियों ने कुछ ही महीने पहले इसे तैयार किया है, ताकि जवानों पर हमला करने के बाद नक्सली आसानी से इस सुरंग में छिप सकें.
गौरव राय ने बताया कि बताया कि सुरंग को देखकर लग रहा है कि, बड़ी संख्या में नक्सलियों ने इसको खोदकर तैयार किया है. हालांकि सुरंग मिलने के बाद अब जवान इसको मिट्टी से पाटने की तैयारी कर रहे हैं.